Thursday, 4 February 2010

मयखाने में 'एनिग्मा' का संस्कृत श्लोकोच्चार

विश्व संगीत के कद्रदान 'एनिग्मा' से परिचित होंगे और मुझसे बेहतर जानते होंगे मैं तो उसकी ये रचना यहाँ इसलिए लगा रहा हूँ कि एक सज्जन बता रहे थे कि ये रचना चीन में काफी पॉपुलर है प्रसन्न-वदना , सौभाग्यदा ,भाग्यदा ........बस इतना तो समझ में आता है बाकी मज़ा काफी आया, दिलचस्प है ....सुनिए !

2 comments:

  1. अच्छा लगा सुनकर, साझा करने के लिए धन्यवाद !

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  2. अच्छा लगा सुनकर

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