मुनीशजी, कभी क्रांतिकारियों ने कहा था कि शहीदों की याद में हर बरस लगेंगे मेले......लेकिन आज हालात ये हैं कि बरस की कौन कहे तेरहवीं भी नहीं बीतती और भुला दिये जाते है शहीद.....। शर्मा जी को शत शत नमन।
जानते तो शायद इंसपेक्टर शर्मा भी रहे होंगे कि जिस क्षेत्र को उन्होंने अपने जौहर दिखाने के लिए चुना है, उसमें कितना जोखिम है और इस तरह जान गंवाने पर ये अहसानफरामोश देश उन्हें चंद झूठी-सच्ची बातों के अलावा और क्या देगा? इसके बावजूद अपनी जान कुर्बान करते हुए नहीं हिचकिचाए. इससे बढ़कर वीरता और देशभक्ति की मिसाल क्या हो सकती है?
आपकी पोस्ट "मैं इंसपेक्टर शर्मा को नहीं जानता !" पढ़ कर अच्छा लगा , आपने लिखा है , इंस्पेक्टर शर्माजी को शत शत नमन ।कृपया कुछ समय www.jagodelhi.com को भी दीजिये , धन्यवाद्
Ye Duniya agar sumudra hai to Sharmaji ek dweep ki tarah hain. Woh sachche mayano main ek mahapurush hain. Unki Sahadat par shakk karne wale Dharam ke andhe akalmando ko sadbuddi mile, Bhagwan/Khuda/God se yahi dua hai.
इंस्पेक्टर शर्माजी को शत शत नमन ।
ReplyDeleteमुनीशजी, कभी क्रांतिकारियों ने कहा था कि शहीदों की याद में हर बरस लगेंगे मेले......लेकिन आज हालात ये हैं कि बरस की कौन कहे तेरहवीं भी नहीं बीतती और भुला दिये जाते है शहीद.....। शर्मा जी को शत शत नमन।
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ReplyDeleteसही कहा.. हममे से कोई भी उन्हें नहीं जानता था या है.. बस कुछ दिनों कि बात है, देखियेगा कोई उन्हें जान भी नहीं पायेगा..
ReplyDeleteआपके सवालों ने अवाक कर दिया मुनीश भाई!
ReplyDeleteबहुत सही लिखा है आपने ..सब अभी की बात है फ़िर अपनी हर मुसीबत को वह परिवार अकेला ही झेलेगा ...
ReplyDeleteबहुत अलग कि़स्म की पोस्ट...
ReplyDeleteशर्मा जी जैसे लोग समय के साथ भुला दिये जाते हैं. बहुत गम्भीर प्रश्न है ये.
ReplyDeleteजानते तो शायद इंसपेक्टर शर्मा भी रहे होंगे कि जिस क्षेत्र को उन्होंने अपने जौहर दिखाने के लिए चुना है, उसमें कितना जोखिम है और इस तरह जान गंवाने पर ये अहसानफरामोश देश उन्हें चंद झूठी-सच्ची बातों के अलावा और क्या देगा? इसके बावजूद अपनी जान कुर्बान करते हुए नहीं हिचकिचाए. इससे बढ़कर वीरता और देशभक्ति की मिसाल क्या हो सकती है?
ReplyDeleteबढ़िया पोस्ट.
आपने दिल की बात कही औरो की तरह पोस्ट नही लिखा !यही खासीयत है आपकी जो हमे अच्छी लगती है !! नमन उस अमर शहीद को !!
ReplyDeleteआपने सही कहा।
ReplyDeleteआपकी पोस्ट "मैं इंसपेक्टर शर्मा को नहीं जानता !" पढ़ कर अच्छा लगा , आपने लिखा है , इंस्पेक्टर शर्माजी को शत शत नमन ।कृपया कुछ समय www.jagodelhi.com को भी दीजिये , धन्यवाद्
ReplyDeleteYe Duniya agar sumudra hai to Sharmaji ek dweep ki tarah hain. Woh sachche mayano main ek mahapurush hain.
ReplyDeleteUnki Sahadat par shakk karne wale Dharam ke andhe akalmando ko sadbuddi mile, Bhagwan/Khuda/God se yahi dua hai.
Sach ko ho bolbala, Jhuthon ka ho muhn kala!
मिले सुर मेरा तुम्हारा तो सुर बने हमारा.....धन्यवाद मित्रो !
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